शनि के शाही वलय
सभी गैस महाकाय ग्रहों के अपने वलय है लेकिन शनि के वलयों सबसे हटकर है, वे सबसे स्पष्ट, चमकदार, जटिल और शानदार वलय है। ये वलय इतने शाही और शानदार है किं शनि को सौर मंडल का आभूषण धारी ग्रह माना जाता है।...
View ArticleKIC 8462852 : एलीयन सभ्यता ? एक बार फ़िर से चर्चा मे
हमारे ब्रह्मांड मे ढेर सारी अबूझ पहेलीयाँ है, लेकिन पिछले कुछ समय से विश्व के खगोलशास्त्री एक अजीब सी उलझन में फंसे हुए हैं। इसकी वजह है एक अनोखा तारा। यह तारा काफी रहस्यमय है। इससे जुड़ी बातें इसे...
View Articleएलियन या प्राकृतिक : अंतरिक्ष मे पायी गई विचित्र ध्वनियाँ और संकेत
अंतरिक्ष मे एक खौफ़नाक सन्नाटा छाया रहता है क्योंकि ध्वनि अंतरिक्ष मे यात्रा नही कर पाती है लेकिन अंतरिक्ष शांत नही है। लगभग सभी अंतरिक्ष के पिंड ऐसे रेडीयो संकेतो का उत्सर्जन करते है जिन्हे मानव के कान...
View Articleमानवता का दूत : 20 अरब किलोमीटर दूर जा चुका वायेजर क्या है?
खोज करना मानव की फ़ितरत है। इसके लिए वो किसी भी हद तक जाने को तैयार होता है। तभी तो, मानव उस चीज़ को खोजने में जुटा हुआ है, जिसकी कोई हद नहीं। जिसका कोई ओर-छोर नहीं। पर, वो आख़िर क्या है जिसका कोई...
View Articleइनसाईट खगोल फोटोग्राफ़र पुरस्कार -2016(Insight Astronomy Photographer of the...
पूर्ण सूर्य ग्रहण के दौरान पैदा हुए ‘बेली बीड’ प्रभाव की यह तस्वीर ली है, चीनी फ़ोटोग्राफ़र यु जन ने. उन्हें इस तस्वीर के लिए ‘सूर्य कैटेगरी’ के साथ ही पूरी प्रतियोगिता का पहला पुरस्कार मिला है. इस...
View Articleसौर मंडल के बाहर की सैर
न्यु हारिजोंस(New Horizones) अंतरिक्षयान के प्लूटो अभियान की सफलता के साथ ही मानव ने सौर मंडल के मुख्य पिंडो की प्राथमिक यात्रा पूरी कर ली है। अब ब्रेकथ्रु स्टारशाट(Breakthrough Starshot) अभियान तथा...
View Articleसौरबाह्य(EXOPLANET) ग्रहों की खोज का विज्ञान
अगस्त 2016 तक 3000 से अधिक सौरबाह्य ग्रह खोजे जा चुकें है। इनमे से लगभग 100 ग्रहों को 2004 पश्चात चीली स्थित ला सिल्ला वेधशाला(La Silla) के हाई एक्युरेशी रेडियल वेलोसिटी प्लेनेट सर्चर(High Accuracy...
View Articleभारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO)
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) भारत का राष्ट्रीय अंतरिक्ष संस्थान है जिसका मुख्यालय कर्नाटक प्रान्त की राजधानी बेंगालुरू में है। संस्थान में लगभग सत्रह हजार कर्मचारी एवं वैज्ञानिक कार्यरत हैं।...
View Articleब्लैक होल की रहस्यमय दुनिया
श्याम वीवर का परिकल्पित चित्र कृष्ण विवर(श्याम विवर) अर्थात ब्लैक होल (Black hole) अत्यधिक घनत्व तथा द्रव्यमान वाले ऐसें पिंड होते हैं, जो आकार में बहुत छोटे होते हैं। इसके अंदर गुरुत्वाकर्षण इतना...
View Articleध्रुविय ज्योति
यह कोई साधारण चित्र नही है यह पृथ्वी पर होने वाली एक अद्भुत खगोलीय घटना है जो की हमारी पृथ्वी के ध्रुवीय क्षेत्रो में घटित होती है। पृथ्वी के धुवीय क्षेत्रो जैसे अलास्का तथा उत्तरी कनाडा के आकाश मे...
View Articleविश्व का प्रथम स्थायी अंतरिक्ष स्टेशन मीर
मीर अंतरिक्ष केंद्र विश्व के प्रथम स्थायी अंतरिक्ष स्टेशन मीर को 20 फरवरी 1986 को अंतरिक्ष में स्थापित किया गया। 23 मार्च सन 2001 को भारतीय समय के दिन के 11 बजकर 29 मिनट पर न्यूजीलैंड और चिली के बीच के...
View Articleखगोलशास्त्रियों को सौर परिवार से बाहर मिले ‘पृथ्वी की तरह’के सात ग्रह
खगोलविदों ने एक ही तारे की परिक्रमा करते धरती के आकार के कम-से-कम सात ग्रहों को खोज निकाला है। मशहूर विज्ञान पत्रिका नेचर में बुधवार को प्रकाशित एक अध्ययन में इन ग्रहों की दूरी 40 प्रकाश वर्ष बताई गई...
View Articleएक ब्रह्माण्ड या अनेक ब्रह्माण्ड(Universe or Multiverse)
अनेक ब्रह्माण्ड(Multiverse) आज हम उस स्थिति में हैं कि अपने ब्रह्मांड की विशालता का मोटे तौर पर आकलन कर सकते हैं। हमारी विराट पृथ्वी सौरमंडल का एक साधारण आकार का ग्रह है, जो सूर्य नामक तारे के...
View Articleआधुनिक खगोलशास्त्र के पितामह : एडवीन हबल
एडवीन हबल( Edwin Hubble) एडविन हबल ब्रह्मांड के विस्तार सिद्धांत के प्रवर्तक और आधुनिक खगोल विज्ञान के पितामह थे । हबल बीसवीं सदी के अग्रणी खगोलविदों में से एक थे । उन पर ही हबल अंतरिक्ष टेलीस्कोप का...
View Articleओमुअमुआ(Oumuamua) : सौर मंडल के बाहर से आया एक मेहमान
ओमुअमुआ: Oumuamua पहली बार खगोलविज्ञानियों ने एक क्षुद्रग्रह को खोज निकाला है जो बाहरी अंतरिक्ष से हमारे सौरमंडल में प्रवेश कर चुका है। चिली स्थित ESO(European Southern Observatory) के वेरी लार्ज...
View Articleनासा ने सौर मंडल के जैसे एक और सौर मंडल खोजा : केप्लर 90
नासा ने हमारे सौर मंडल के तुल्य एक तारा-ग्रह प्रणाली खोजी है जिसके पास आठ ग्रह है। इस तारे का नाम केप्लर 90 है। केप्लर 90 और सौर मंडल के ग्रहों के आकार की तुलना अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा को एक बड़ी...
View Articleहम तारों की दूरी कैसे ज्ञात कर लेते है ?
हम तारों की दूरी कैसे ज्ञात कर लेते है ? हम कैसे बता पाते है की उस तारे की दूरी उतनी है इस तारे की दूरी इतनी है ? यह ऐसे सवाल है जो विज्ञान विश्व पृष्ठ पर सबसे ज्यादा लोगो ने सबसे ज्यादा बार पूछा है।...
View Articleजब एंड्रोमिडा आकाशगंगा हमारी आकाशगंगा से टकरायेगी
आज से तकरीबन चार अरब वर्षों के बाद हमारी आकाशगंगा मंदाकिनी (मिल्की वे) और एंड्रोमेडा आकाशगंगा आपस मे टकरा जाएगी लेकिन अफसोस तबतक हमारा सूर्य एक विशाल लाल तारा बन चुका होगा। न ही पृथ्वी और न ही सौर मंडल...
View Articleब्रह्माण्ड के शुरुआती सितारों के जन्म का रहस्य
महा विस्फोट का सिद्धांत ब्रह्मांड की उत्पत्ति के संदर्भ में सबसे ज्यादा मान्य है। यह सिद्धांत व्याख्या करता है कि कैसे आज से लगभग 13.8 अरब वर्ष पूर्व एक अत्यंत गर्म और घनी अवस्था से ब्रह्मांड का जन्म...
View Articleटेरा फ़ार्मिंग: किसी ग्रह को जीवन योग्य बनाना
हमारी अब तक की जानकारी के अनुसार द्रव जल जीवन के लिये आवश्यक है, इसके बिना जीवन संभव नही है। पृथ्वी पर हर कहीं द्रव जल उपलब्ध है और जीवन ने पनपने का मार्ग खोज निकाला है। इसलिये मानव अंतरिक्ष अण्वेषण मे...
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